पिछले 9 वर्षों में 12 करोड़ शौचालय बनाए गए, जिससे हमें खुले में शौच की समस्या से मुक्ति मिली: हरदीप एस पुरी

दिल्ली (द स्टैलर न्यूज़)। पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस मंत्रालय ने आज यहां शास्त्री भवन में आयोजित एक उद्घाटन समारोह के साथ स्वच्छता पखवाड़ा-2024 का शुभारंभ किया। इस कार्यक्रम में पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस मंत्री श्री हरदीप सिंह पुरी ने मंत्रालय के सभी वरिष्ठ अधिकारियों एवं कर्मचारियों को स्वच्छता की शपथ दिलाई। इस समारोह में पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस राज्य मंत्री श्री सुरेश गोपी और पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस मंत्रालय में सचिव श्री पंकज जैन भी उपस्थित थे।

Advertisements

इस कार्यक्रम में उपस्थित लोगों को संबोधित करते हुए श्री हरदीप सिंह पुरी ने स्वच्छ भारत अभियान के हिस्से के रूप में स्वच्छता पखवाड़ा पहल के महत्व पर जोर दिया। स्वच्छता अभियान को प्रधानमंत्री के नेतृत्व में देश में सबसे मौलिक परिवर्तनकारी अभियान बताते हुए उन्होंने कहा कि इस अभियान ने हमारे सोचने के तरीके में एक बड़ा बदलाव लाया है।

श्री पुरी ने सभी विभागों में स्वच्छता प्रथाओं को बढ़ावा देने तथा मंत्रालय के अंतर्गत केन्द्रीय सार्वजनिक क्षेत्र के उद्यमों (सीपीएसई) और संबद्ध कार्यालयों सहित सभी हितधारकों की सक्रिय भागीदारी के लिए मंत्रालय की प्रतिबद्धता पर प्रकाश डाला।

इस कार्यक्रम को संबोधित करते हुए श्री पुरी ने पिछले वर्ष के स्वच्छता पखवाड़े की उपलब्धियों पर प्रकाश डाला, जिसमें स्वच्छता सुविधाओं का निर्माण, स्वच्छता संबंधी बुनियादी ढांचे की स्थापना और सार्वजनिक स्थानों तथा कार्यालयों में सफाई अभियान जैसी विभिन्न गतिविधियां शामिल थीं। उन्होंने कहा, “पिछले साल हमने सतत विकास लक्ष्य 6 (एसडीजी-6) को प्राप्त करने के लिए अपनी प्रतिबद्धता को प्रदर्शित करते हुए 1 जुलाई से 15 जुलाई 2023 के बीच ‘स्वच्छता पखवाड़े’ के तहत कई गतिविधियां कीं।”

श्री पुरी ने स्वच्छ भारत मिशन की सफलता का जश्न मनाने के लिए भी कुछ समय निकाला। स्वच्छ भारत मिशन ने पिछले नौ वर्षों में भारत को बदल दिया है। उन्होंने ग्रामीण और शहरी भारत में लगभग 12 करोड़ शौचालयों के निर्माण, ठोस अपशिष्ट प्रबंधन में महत्वपूर्ण सुधारों और स्वास्थ्य तथा स्वच्छता प्रथाओं पर समग्र प्रभाव का उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि शहरी क्षेत्रों में हमारा ठोस अपशिष्ट प्रबंधन, जो मिशन की शुरुआत में लगभग न के बराबर था, अब प्रभावशाली 77 प्रतिशत पर है। उन्होंने आगे कहा कि संयुक्त राष्ट्र के अनुसार, बेहतर स्वास्थ्य और स्वच्छता प्रथाओं के कारण परिवारों ने 50,000 रुपये तक की बचत की है।

श्री पुरी ने स्वच्छता के प्रति निरंतर प्रतिबद्धता की आवश्यकता पर बल दिया। शहरों को कचरा मुक्त बनाने तथा स्वच्छ भारत मिशन – शहरी 2.0 (एसबीएम-यू 2.0) के माध्यम से सभी पुराने कूड़ा स्थलों के सुधार के महत्व पर बल दिया।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here